टिम टिम चमके नन्हा तारा
टिम टिम चमके नन्हा तारा
टिम टिम चमके नन्हा तारा
- अमनदीप सिंह
टिम टिम चमके नन्हा तारा
लगता मुझको बहुत प्यारा
बड़ी हैरानी से मैं देखूं
अंबर में वो हीरा न्यारा !
बलता सूर्य जब छुप जाए
जब ज़रा भी चमक न पाए
तब तू आ झलक दिखाए
चमके सारी रात न जाए
गहरे नीले अंबर में से
देखे जैसे पर्दे में से
तब तक न पलक झपकाए
जब तक सूर्य न चढ़ आए
फिर वो राही अँधेरे में
तिरा ऋणी हर फेरे में
कहाँ कहाँ न वो भटके
अगर तू न टिम टिम चमके
जैसे तेरी टिमटिमाहट
अँधेरे में करे निलाहट
मैं न जानू कौन न्यारा
टिम टिम चमके नन्हा तारा !